पूर्णिमा के व्रत में नमक खाना चाहिए या नहीं - हिंदू सनातन धर्म में व्रत को काफी महत्व दिया जाता हैं। भगवान को प्रसन्न करने के लिए तथा भक्त और भगवान के बीच की दुरी को कम करने के लिए व्रत किया जाता हैं। ऐसा माना जाता है की व्रत करने से हमें शुभ फल की तो प्राप्ति होती ही हैं। साथ-साथ हमें स्वास्थ्य लाभ भी मिलता हैं।
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| पूर्णिमा के व्रत में नमक खाना चाहिए या नहीं |
व्रत करना हमारे शरीर के लिए भी अच्छा माना जाता हैं। वैसे तो लोग विभिन्न प्रकार के आए दिन कोई ना कोई व्रत करते रहते हैं, लेकिन आज हम इस ब्लॉग में पूर्णिमा व्रत के बारे में चर्चा करने वाले हैं जो की आपके लिए उपयोगी साबित होने वाला हैं। इसलिए हमारा यह आर्टिकल अंत तक जरुर पढ़े।
दोस्तों आज हम आपको इस ब्लॉग के माध्यम से बताने वाले है की पूर्णिमा के व्रत में नमक खाना चाहिए या नहीं तथा पूर्णिमा के व्रत में नमक खाना चाहिए या नहीं। इसके अलावा इस टॉपिक से जुडी अन्य और भी जानकारी प्रदान करने वाले हैं, तो आइये हम आपको इस बारे में संपूर्ण जानकारी प्रदान करते हैं।
पूर्णिमा के व्रत में नमक खाना चाहिए या नहीं
जी नहीं, पूर्णिमा के व्रत में नमक नहीं खाना चाहिए। पूर्णिमा व्रत में नमक खाना वर्जित माना गया हैं लेकिन फिर भी अगर आप नमक खाना चाहते है, तो सेंधा नमक खा सकते हैं। अगर आप पूर्णिमा के दिन कुछ भी फलाहार बनाए, तो उसमें सफ़ेद नमक की जगह सेंधा नमक का इस्तेमाल करे।
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पूर्णिमा के दिन सिंदूर लगाना चाहिए कि नहीं
वैसे तो पूर्णिमा के दिन सिंदूर लगाया जा सकता हैं, लेकिन कुछ महिलाएं पूर्णिमा के दिन सिंदूर नहीं लगाती हैं। हमारे धार्मिक ग्रंथो में पूर्णिमा के दिन सिंदूर लगाना चाहिए या नहीं इसके बारे में कुछ भी बताया गया नहीं हैं।
इसलिए महिलाएं अपनी मान्यता और इच्छा अनुसार सिंदूर लगाती भी है और कुछ महिलाएं सिंदूर नहीं भी लगाती हैं। सिंदूर लगाना या नहीं लगाना अपनी मर्जी और विचार पर निर्भर करता है।
पूर्णिमा के दिन बाल धोना चाहिए या नहीं
पूर्णिमा व्रत व्रत में इस दिन बाल धोना निषिद्ध माना जाता है। यह अत्यंत ही शुभ तिथि होती है, जब महिलाएँ व्रत रखती हैं। ऐसे में यदि आप भी व्रत करते हैं, तो इस दिन बाल धोने से अवश्य ही बचना चाहिए।
हमारे धर्मशास्त्रों में महिलाओं के बाल धोने से जुड़े कई नियम बताए गए हैं। यदि किसी शुभ दिन व्रत रखा जाए, तो उस दिन बाल धोने से बचना चाहिए। ऐसा माना जाता है कि व्रत के दिन बाल धोने से घर में नकारात्मक ऊर्जा का प्रवेश हो सकता है।
पूर्णिमा का व्रत क्यों किया जाता है
पूर्णिमा का व्रत करने से जातक को काफी लाभ होते हैं। इसलिए जातक के द्वारा पूर्णिमा का व्रत का किया जाता हैं। जैसे की -
- अगर किसी को मानसिक कष्ट हो रहा है, तो उनको पूर्णिमा का व्रत करना चाहिए।
- अगर किसी व्यक्ति की कुंडली में चंद्र दूषित या पीड़ित है, तो उनको पूर्णिमा व्रत करना चाहि।
- जिन लोगो बहुत अधिक भय लगता है या हमेशा के लिए मानसिक चिंता में डूबे रहते हैं। तो ऐसे लोगो के लिए पूर्णिमा का व्रत अच्छा माना जाता है।
- पूर्णिमा के दिन शिवलिंग पर कच्चा दूध तथा जल अर्पित करने से बीमारी से छुटकारा मिलता हैं। इसलिए कुछ लोग पूर्णिमा का व्रत करते हैं।
- वैवाहिक जीवन में शांति के लिए तथा पारिवारिक सुख पाने के लिए पूर्णिमा का व्रत किया जाता हैं।
- इन सभी लाभों को प्राप्त करने के लिए और भगवान विष्णु के आशीर्वाद की प्राप्ति के लिए पूर्णिमा का व्रत किया जाता है।
पूर्णिमा के व्रत में क्या खाना चाहिए
किसी भी व्रत का सीधा संबंध भोजन से जुड़ा होता है, इसलिए आप को व्रत शुरू करने से पहले यह जानना बहुत ही आवश्यक है कि इस व्रत में क्या खाना उचित है। ऐसे में हम पूर्णिमा व्रत की बात करें तो बहुत से लोग अपनी मनोकामनाओं की पूर्ति के लिए इस व्रत को करते हैं।
लोग व्रत तो रखते लेते हैं, लेकिन खाने को लेकर अक्सर उनके मन में बहुत सारे सवाल उठते रहते हैं। आइए आज हम जानें कि पूर्णिमा के व्रत में क्या खाना चाहिए।
दूध और खीर: ऐसा कहा जाता है कि पूर्णिमा व्रत में आप दूध की बानी खीर का सेवन कर सकता/सकती हैं। इसके अलावा आप दूध से बने अन्य व्यंजन जैसे की साबूदाने की खीर, सेवई की खीर और चावल की खीर का सेवन किया जा सकता हैं।
ड्राई फूड्स: यदि आप भी पूर्णिमा का व्रत रख रही हैं, तो आप इस व्रत में ड्राई फूड्स का सेवन कर सकते हैं। इसमें काजू, अखरोट, बादाम, किशमिश, पिस्ता, खजूर और खुबानी शामिल होता हैं।
इस व्रत में ड्राई फूड्स का सेवन दिन में केवल एक बार करना ही उचित रहता है, क्योंकि किसी भी व्रत में बार-बार खाना नहीं चाहिए।
फलों का सेवन: माना जाता है कि पूर्णिमा व्रत में आप फलों का सेवन कर सकते हैं। फल पूरी तरह सात्त्विक होते हैं और व्रत के दौरान बेझिझक एक बार खाए जा सकते हैं।
इस व्रत में आप जैसे कि केला, संतरा, अंगूर, और खीरा आदि फलों का सेवन कर सकते हैं। हालांकि, इन्हें व्रत में पूजा-पाठ पूर्ण करने के बाद ही खाना उचित होता है।
सिंघाड़े का सेवन: पूर्णिमा व्रत में आप सिंघाड़े से बानी चीजो का सेवन कर सकती हैं। सूखे सिंघाड़े को पीसकर उसका आटा तैयार करें और उससे पूरी, हलवा या अन्य व्रत-उपयुक्त व्यंजन बनाकर खाएँ।
इसके अलावा, आप पूर्णिमा व्रत में राजगिरा आटे का हलवा भी खाया जा सकता है। इसे देसी घी, दूध, चीनी और मेवा मिलाकर स्वादिष्ट रूप में तैयार किया जा सकता है।
साबूदाना की बानी खिचड़ी: पूर्णिमा व्रत करने वाली महिलाएँ साबूदाने की खिचड़ी बनाकर ग्रहण कर सकती हैं, इससे व्रत नहीं टूटता। बस इसे बनाते समय साधारण नमक की जगह सेंधा नमक का उपयोग करना चाहिए।
पूर्णिमा व्रत में शाम को क्या खाना चाहिए
पूर्णिमा के व्रत में शाम को आप निम्नलिखित चीजों को बनाकर खा सकते हैं:
- साबूदाने का पुलाव या खिचड़ी
- कच्चे केले की टिक्की
- सिंघाड़े की नमकीन बरफी
- कुटू के पराठे
- आलू, खीरा तथा मूंगफली का सलाद
- मखाने की खीर
- दही, सेंधा नमक
- कुटू के पकोड़े
इसके अलावा आप अन्य और भी फलहारी व्यंजन बनाकर खा सकते है।
पूर्णिमा व्रत में क्या नहीं खाना चाहिए
पूर्णिमा के व्रत में आप को नमक, अंडा, प्याज और लहसुन का बिल्क़ुल भी सेवन नहीं करना चाहिए।
पूर्णिमा का व्रत खोलने की विधि
पूर्णिमा का व्रत खोलने के लिए सबसे पहले अपने इष्टदेव की पूजा करे। इसके बाद पुष्प आदि अर्पित करने के बाद ब्राह्मणों को भोजन कराए और उन्हें दक्षिणा आदि दान करे। इसके पश्चात आप स्वयं पूर्णिमा का व्रत खोल सकती हैं।
निष्कर्ष
दोस्तों आज हमने आपको इस ब्लॉग के माध्यम से बताया है की पूर्णिमा के व्रत में नमक खाना चाहिए या नहीं तथा पूर्णिमा के व्रत में नमक खाना चाहिए या नहीं। इसके अलावा इस टॉपिक से जुडी अन्य और भी जानकारी प्रदान की हैं।
हम उम्मीद करते है की आज का हमारा यह आर्टिकल आपके लिए उपयोगी साबित हुआ होगा। अगर उपयोगी साबित हुआ हैं, तो आगे जरुर शेयर करें। ताकि अन्य लोगो तक भी यह महत्वपूर्ण जानकारी पहुंच सके।
दोस्तों हम आशा करते है की आपको हमारा यह पूर्णिमा के व्रत में नमक खाना चाहिए या नहीं / पूर्णिमा का व्रत क्यों किया जाता है ब्लॉग अच्छा लगा होगा। धन्यवाद!
FAQs
पूर्णिमा के व्रत में नमक खा सकते है या नहीं?
जी नहीं, पूर्णिमा के व्रत में बिल्कुल भी नमक नहीं खाना चाहिए।
पूर्णिमा के व्रत में क्या खाना चाहिए?
इस व्रत में आप फल, दूध की खीर, साबूदाना और ड्राई फूड्स का सेवन कर सकते है।
पूर्णिमा के दिन बाल धो सकते है या नहीं?
जी नहीं, पूर्णिमा के दिन भूल से भी बाल नहीं धोना चाहिए।
पूर्णिमा के दिन किन वसुओं का दान करना चाहिए?
पूर्णिमा के दिन आप किसी भी ब्राह्मण को चावल, दही, चांदी की चीजे, सफेद रंग के वस्त्र, चीनी, सफेद फूल और मोती जैसी आदि वसुओं का दान करना चाहिए।
पूर्णिमा के कितने व्रत आप को करने चाहिए?
पूर्णिमा के कुल 32 व्रत पूर्ण करना चाहिए।
पूर्णिमा व्रत किस महीने से शुरू करना चाहिए?
पूर्णिमा व्रत आप किसी भी माह से आरम्भ कर सकते है, लेकिन शुभ फल पाने हेतु श्रावण या माघ के महीने में शुरू करना बहुत ही श्रेष्ठ माना जाता है।
पूर्णिमा का व्रत क्यों किया जाता है?
पूर्णिमा का व्रत मानसिक शांति, चंद्रदेव की कृपा, सौभाग्य, आरोग्य और पारिवारिक सुख पाने के लिए किया जाता है।
पूर्णिमा के व्रत में शाम को क्या खाना चाहिए?
पूर्णिमा व्रत में शाम के समय आप फल, दूध, साबुदाना, और खीर का सेवन कर सकते है।
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