गंगा का जलस्तर बड़ेसर गांव स्थित एनएच-24 सड़क किनारे गंगा में कटान रोकने के लिए लगाये गये बोल्डर पर पानी चढ़ने लगा है। इससे खतरा तेजी से बढ़ता जा रहा है। काफी संख्या में मजदूर उपस्थित होकर बोरियों में मिट्टी, ईंट डालकर कटान रोकने के प्रयास में लगे रहे। बताया जा रहा है कि मंगलवार को गंगा में जलस्तर बढ़ने के कारण बड़ेसर गांव स्थित कटान को रोकने के लिये बिछाये गये बोल्डर बाढ़ में डूबने लगे हैं।
इसे देख पीडब्ल्यूडी के कर्मियों ने बोरियों में मिट्टी व गिट्टी डालकर कटान रोकने का प्रयास करते रहे। गंगा से एनएच-24 काफी करीब है और पानी बढ़ता रहा तो जल्द यह सड़क पर बहने लगेगा। जलस्तर बढ़ते देख मजदूर कटान रोधी कार्य में जुट गये थे।
इधर गंगा के बाड़ में रहने वाले लोग लगातार गंगा के बढ़ते जलस्तर को देखकर घर-मकान छोड़ पलायन करने को मजबूर हैं। गंगा के बढ़ते जलस्तर से रेलवे स्टेशन बाजार और कस्बा बाजारवासियों के लिए चिंताजनक तो नहीं है, लेकिन क्षेत्र के निचले तटवर्ती हरपुर, मथारे, ताजपुर मांझा, जगदीशपुर, राघोपुर, चितावनपट्टी, मंझरिया, मतसा, रघुनाथपुर, सब्बलपुर, देवरिया, देवा बैरनपुर, मलसा, इजरी, गड़हा छानबे, भगीरथपुर, गरुवा मकसूदपुर, बहलोलपुर आदि सहित डेढ़ दर्जन गांव के सामने पशुओं के चारे के साथ सब्जी आदि का संकट मंडराने लगा है। लोगों का कहना है कि राष्ट्रीय एनएच-24 के पश्चित में लगाये गये सभी धान के खेत बाढ़ के पानी में डूब गए हैं। चारों ओर पानी ही पानी दिखाई दे रहा है। सबसे ज्यादा पशुओं के चारे के लिए मशक्कत करनी पड़ रही है।