पूर्वांचल में नदियों का रुख तल्खी की ओर होने के बाद से अब विगत 48 घंटों से घटाव की ओर है। नदियों का रुख घटाव की ओर होने से अब नदियां अपने पीछे गाद छोड़ती जा रही हैं जिसकी वजह से कीचड़ और फिसलन के साथ ही संक्रामक बीमारियां और मच्छरों को पनपने का बेहतर अवसर भी देती जा रही हैं। मीरजापुर, वाराणसी और गाजीपुर में गंगा का रुख अब घटाव की ओर होने से तटवर्ती लोगों ने राहत की सांस ली है। जबकि गंगा के पलट प्रवाह से वरुणा में पानी आने से कुछ मकानों और कालोनियों में भी लोगों को दुश्वारी झेलनी पड रही है।
बलिया जिले में गंगा जहां खतरा बिंदु के पास बनी हुई है वहीं सरयू नदी का जलस्तर कम होने से यह अब चेतावनी बिंदु के करीब आ चुकी है। पानी कम होने के बाद से ही लोगों ने राहत की सांस ली है मगर पानी कम होने के साथ ही फसलों को व्यापक नुकसान पहुंचा है। जबकि पशुओं के लिए हरे चारे की भी कमी प्रभावित इलाकों में हुई है। जबकि कम हो रहा जलस्तर बलिया अौर मऊ जिले में कटान भी कर रहा है। केंद्रीय जल आयोग की ओर से रविवार की सुबह जारी रिपोर्ट के अनुसार बलिया के तुर्तीपार में सरयू नदी का जलस्तर 63.4 मीटर पर स्थिर बना हुआ है, आगे जलस्तर कम होने की उम्मीद बनी हुई है।