दीपावली से पहले ही बनारस की हवा खराब होने लगी है। प्रदूषक तत्वों की मात्रा बढ़ने से बनारस ग्रीन से येलो जोन में पहुंच गया है। ऐसे में प्रदूषण नियंत्रण विभाग की चिंता बढ़ गई है। मलदहिया, भेलूपुर और लंका सबसे प्रदूषित इलाके रहे।
केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) के अनुसार शहर का एयर क्वालिटी इंडेक्स (एक्यूआई) 138 दर्ज किया गया। बनारस की हवा में फिर से बारीक धूल के कणों की मात्रा बढ़ने लगी है। बुधवार को मलदहिया का एक्यूआई 178, भेलूपुर का 139, लंका का 137 और अर्दली बाजार का 100 दर्ज किया गया।
अक्तूबर में बनारस की हवा सबसे अच्छी थी और यह लगातार ग्रीन जोन में बना हुआ था। पिछले साल दीपावली से पहले ही बनारस की हवा खराब हो गई थी। शहर लगातार रेड जोन में बना हुआ था और एयर क्वालिटी इंडेक्स तीन सौ के ऊपर था। वहीं, 2019 में दीपावली के समय एयर क्वालिटी इंडेक्स पांच सौ के पास पहुंच गया था। वाराणसी सर्वाधिक प्रदूषित शहरों में पहले नंबर पर था।
एयर क्वालिटी इंडेक्स के बारे में जानिए
केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के अनुसार 0 और 50 के बीच एक्यूआई को अच्छा, 51 और 100 के बीच संतोषजनक, 101 और 200 के बीच मध्यम, 201 और 300 के बीच खराब, 301 और 400 के बीच बेहद खराब और 401 से 500 के बीच गंभीर माना जाता है।