यूपी की योगी सरकार लगातार माफियाओं खासकर मुख्तार अंसारी गैंग पर शिकंजा कस रही है। मुख्तार अंसारी की करोड़ों की संपत्ति जमींदोज कर दी गई है। सुप्रीम कोर्ट तक कानूनी लड़ाई लड़ने के बाद पंजाब से मुख्तार को प्रदेश की बांदा जेल लाया जा चुका है। इन सब से इतर मुख्तार अंसारी के गृह जिले गाजीपुर में हुए पंचायत चुनाव में भाजपा को बड़ा झटका लगा है। यहां 64 में से भाजपा को केवल सात सीटें मिल सकी हैं। समाजवादी पार्टी ने करीब आधी सीट पर कब्जा जमा लिया है।
गाजीपुर में मतगणना पूरी होने के 24 घंटे बाद तक प्रशासन की ओर से पूरे आकंडे जारी नहीं किए गए। मतगणना के 36 घंटे में प्रधानों का परिणाम आया तो सूची जारी होने में घंटों लग गए। अब जिला पंचायत की सूची के लिए भी प्रत्याशियों और जीते सदस्य इंतजार कर रहे हैं। जिला प्रशासन की लंबी कवायद के बाद बुधवार दोपहर बाद गाजीपुर की सूची उप्र चुनाव आयोग की बेवसाइट पर डाली गई। इस सूची में 64 जिला पंचायत सदस्यों के परिणाम जारी किए हैं। अन्य को प्रतीक्षारत बताया गया है।
गाजीपुर में जिला पंचायत सदस्यों के परिणाम चौंकाने वाले आए हैं। जिले में सपा के समर्थित पंचायत सदस्यों ने सर्वाधिक सीटों पर जीत हासिल की है। सपा ने 25 और सहयोगी दल ने 10 सीटों पर जीत हासिल की है। इसे मिलाकर जिले की जीत में सपा के पास 67 में से 35 सीटों पर बहुमत आ गया है। परिणाम के बाद सपा के पाले में खुशी की लहर दौड़ गई है वहीं सपा से बागी होकर भी कुछ निर्दलीय चुनाव जीत गए है, जिनके चुनाव के दौरान सपा के समर्थन में आने का दावा भी पार्टी नेताओं ने किया है। वहीं भाजपा को जिले में महज 07 सीटों पर सफलता मिली है और 10 सीटों पर बसपा के समर्थित उम्मीदवार जीते हैं। कई सीटों पर कांटे की टक्कर के बीच कांग्रेस महज दो सीटें ही जीत सकी है। हालांकि तीन सीटों पर फीडिंग बाकी होने के कारण उनके परिणाम भी देर रात घोषित करदिए जाएंगे। अब गाजीपुर में करारी हार के बाद भाजपा खेमे में खलबली है और सपा में उत्साह की लहर देखी जा रही है।