यूपी में पंचायत चुनाव की अधिसूचना और औपचारिक घोषणा भले न हुई हो लेकिन गांवों में सरगर्मियां बढ़ने लगी हैं। खेमेबाजी और जोड़तोड़ की कोशिशों की राह तकनीक और सोशल मीडिया ने कुछ हद तक आसान कर दी है। कोरोना काल में किसी से मिलने और किसी के घर जाने का जोखिम भी नहीं। व्यक्तिगत फेसबुक अकाउंट के साथ ही क्षेत्र या संगठन विशेष के नाम पर फेसबुक पेज और व्हाट्सएप ग्रुप के जरिये लोगों को जोड़कर अपने पाले में करने की होड़ मची हुई है। इनमें युवा प्रत्याशी और समर्थक ज्यादा सक्रिय दिख रहे हैं।
भावी प्रत्याशी अभी से तरह-तरह की तरकीबें आजमा रहे हैं। मुख्यमंत्री, सांसद और विधायक से लगायत दबंग चेहरों के साथ खिचवाई फोटो भी पोस्ट कर रहे हैं। इन तस्वीरों का व्हाट्सएप और फेसबुक की प्रोफाइल पिक्चर के तौर पर भी खूब इस्तेमाल हो रहा है। युवा नेता अनमोल प्रताप कहते हैं कि सोशल मीडिया ने प्रचार आसान कर दिया है। अगर आपकी पोस्ट लगातार चल रही है तो क्षेत्र में युवाओं के बीच आपकी पहचान आसानी से बन जाती है।