वाराणसी में गंगा के जलस्तर में ढाई सेंटीमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से बढ़ाव जारी है। बुधवार की सुबह गंगा का पानी दशाश्वमेध घाट स्थित शीतला माता मंदिर की मुख्य सीढ़ियों के साथ ही उसके बाहर बने प्लेटफार्म तक पहुंच गया था। मंगलवार की रात आठ बजे जलस्तर जहां 65.49 मीटर था। बुधवार की दोपहर दो बजे गंगा का जलस्तर 65.91 मीटर पहुंच गया था। बढ़ाव को देखते हुए जिला प्रशासन ने 15 सितंबर तक के लिए नाव संचालन पर रोक लगा दी है।
मंगलवार को सुबह आठ बजे से अपराह्न दो बजे तक जलस्तर जहां प्रति घंटे दो सेंटीमीटर की रफ्तार से बढ़ा तो अपराह्न तीन बजे से सायं छह बजे तक वृद्धि की गति प्रति घंटे एक सेंटीमीटर हो गई थी, लेकिन सायं सात बजे से एक बार फिर पानी के बढ़ने की रफ्तार दो सेंटीमीटर प्रति घंटे हो गई थी।
बढ़ती गंगा एक ओर शीतला माता मंदिर की सीढ़ियों का स्पर्श करने को आतुर रहीं तो दूसरी ओर गंगा सेवा निधि कार्यालय के पास स्थित ब्रह्मेश्वर महादेव मंदिर को लगभग डूबो चुकी थीं। नाविकों को अपनी बड़ी-बड़ी नौकाएं मंदिर की दीवारों के सहारे बांधनी पड़ीं। वहीं, गंगा सेवा निधि को सातवीं बार गंगा आरती स्थल में बदलाव करना पड़ा।
वाराणसी में चेतावनी बिन्दु 70.26 मीटर पर है। केन्द्रीय जल आयोग के अनुसार मंगलवार सुबह आठ बजे तक जलस्तर 65.29 मीटर दर्ज किया गया था, जो सोमवार को सुबह आठ बजे की तुलना में एक फुट ज्यादा रहा। वहीं, मंगलवार को रात आठ बजे जलस्तर में 20 सेंटीमीटर की और वृद्धि दर्ज की गई। रात को जलस्तर 65.49 मीटर पर पहुंच गया था और इसमें बढ़ाव का क्रम जारी रहा। बुधवार की दोपहर दो बजे गंगा का जलस्तर 65.91 मीटर के पास पहुंच गया था।