अयोध्या में कितने दिन का ट्रैवेल पैकेज बन सकता है? क्या अयोध्या में राम मंदिर के अलावा भी भव्य मंदिर हैं? क्या वहां हाउस बोट की सुविधा भी है? अयोध्या में होटल कैसे हैं? ये और ऐसी ही कई तरह के सवाल देश-दुनिया से यूपी के पर्यटन से जुड़े लोगों के पास आने लगे हैं। कम्बोडिया, वियतनाम, मलेशिया, सिंगापुर, थाईलैण्ड और यहां तक की लंदन तक से इस तरह के सवाल पूछे जा रहे हैं।
हालांकि अभी धार्मिक पर्यटन को लेकर सरकार ने कोई कवायद नहीं शुरू की है लेकिन कोरोना संक्रमण के कारण लगभग पस्त हो चुके पर्यटन उद्योग अयोध्या को लेकर आशान्वित है। उन्हें आशा है कि कोरोना संक्रमण के बाद जब चीजें सामान्य होंगी तो अयोध्या के कारण यूपी के पर्यटन उद्योग को पटरी पर लाने में खासी मदद मिलेगी।
अयोध्या में बनने वाले म्यूजियम, वहां के इतिहास, हवाईअड्डे, सरयू के तट, राम की पैड़ी समेत कई प्रश्न लगातार आ रहे हैं। यूपी ट्रैवल ट्रेड एसोसिएशन के अध्यक्ष विवेक पाण्डेय कहते हैं कि हमारे पास लगभग सभी देशों से सवाल पूछे जा रहे हैं लेकिन खासकर दक्षिण पूर्वी एशिया के देशों में अयोध्या को लेकर खासा उत्साह है। वे अपने ट्रैवल पैकेज को लेकर तैयारी कर रहे हैं तो उनके पास बहुत सवाल हैं। हमने भी यूपी सरकार को ट्रैवल ट्रेड एसेासिएशन के साथ बैठक करने का अनुरोध किया है ताकि हम भी उन्हें सही सलाह दे सकें।
भारत में दक्षिण व दक्षिण पूर्वी एशिया से लगभग 40 लाख पर्यटक 2018 में भारत आए थे। इसमें से ज्यादातर यूपी में आगरा व बनारस होकर लौट जाते हैं। लेकिन जानकारों का मानना है कि अयोध्या में मंदिर बनने के बाद पर्यटक न सिर्फ अयोध्या आएंगे बल्कि लखनऊ, दुधवा व कतर्नियाघाट तक जाएंगे। यूपी के ट्रैवल एजेंट भी अब अपना पैकेज बना रहे हैं जिसमें प्राकृतिक, धार्मिक, आध्यात्मिक, सांस्कृति विरासतों के तौर पर अयोध्या, दधवा, कतर्नियाघाट, वाराणसी, आगरा आदि को जोड़ा जाएगा।